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आगामी 3 वर्षों में ऐसे दस हजार विशाल भवनयुक्त विद्यालयों का निर्माण किया जायेगा जिसमें एक ही स्थान पर कई बच्चे गुणवत्तापूर्ण शिक्षा हासिल कर सकें। |
इस अवसर पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि विद्यालय के भवन ऐसे हों जहां बच्चा दिल लगाकर पढ़ाई कर सकें। उन्होंने कहा कि छठवीं कक्षा से ही छात्रों को व्यावसायिक शिक्षा प्रदान की जाएगी जो उनके लिए रोजगारमूलक साबित होगी।
सीएम ने कहा पहले कभी एक जमाना ऐसा था जब पेड़ों के नीचे स्कूल लगाकर करते थे। जब हम पढ़ते थे तो बस्ते के साथ बैठने के लिए एक पट्टी भी ले पड़ती थी। न बैठने की उचित व्यवस्था थी न पर्याप्त जगह पर आज हमने तेजी से स्कूल भवनों के निर्माण किया है। अधिकांश भवनों को पूरा कर लिया गया है। हमारी प्राथमिकता रही है कि हाई व सेकंडरी तक स्कूल तेजी से खुलें। नए स्कूल जो बन रहे हैं जो आधुनिक तकनीक से लेस हैं ।
क्या-क्या लोकार्पित
जिन नव-निर्मित शैक्षणिक भवनों का लोकार्पण हुआ, उनमें आदिम जाति कल्याण विभाग के 357 करोड़ 9 लाख रुपए लागत के 13 विशिष्ट आवासीय विद्यालयों (कन्या शिक्षा परिसरों), 4 करोड़ 63 लाख रुपए के 3 छात्रावास भवनों और स्कूल शिक्षा विभाग के 135 करोड़ 98 लाख रुपए लागत के 129 हाई स्कूल एवं हायर सेकंडरी शाला भवन शामिल हैं।
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